पहली बार गांधी जयंती पर कैदियों की रिहाई, केंद्रीय जेल से दो महिलाओं समेत 29 कैदी आजाद

रीवा. मध्यप्रदेश में पहली बार गांधी जयंती के मौके पर जेल विभाग ने अच्छे व्यवहार और चाल-चलन वाले कैदियों की रिहाई की है। रीवा केंद्रीय जेल से रविवार 2 अक्टूबर यानी गांधी जयंती पर आजीवन कारावास की सजा काटने वाले 29 कैदियों को रिहा किया है। आपको बता दें कि, इन कैदियों में दो महिला कैदी भी शामिल हैं।




आपको बता दें कि, इससे पहले स्वतंत्रता दिवस और गणतंत्रता दिवस के मौके पर ही कैदियों की रिहाई करने का प्रावधान था। लेकिन, मध्य प्रदेश शासन ने अब 15 अगस्त, 26 जनवरी, गांधी जयंती और अंबेडकर जयंती के दिन भी अच्छे व्यवहार और चाल-चलन रखने वाले कैदियों को रिहा करने का फैसला लिया था। इस संबंध में आदेश भी जारी कर दिए गए हैं। इसी कड़ी में रीवा केंद्रीय जेल में आजीवन कारावास की सजा काटने वाले दारा 302 के तहत जेल में बंद 29 कैदियों को रिहा किया है। बता दें कि, आज रिहा किये गए कैदियों में से 27 पुरुष हैं, जबकि 2 महिलाएं शामिल हैं।




अच्छे व्यव्हार ने दिलाई रिहाई

बताया जा रहा है कि, गांदी जयंती के अवसर पर रिहा किए गए कैदियों में से कुछ कैदी तो ऐसे भी हैं, जिन्होंने जेल के अंदर अपना नाम रोशन किया है। इन्हीं में से एक महिला कैदी जेल में सिलाई का काम करती थी तो दूसरा पुरुष कैदी ने पेंटिंग का काम किया करता था। वहीं, एक पुरुष कैदी जेल में पंडा बनकर पूजा पाठ कार्य किया करता था।




श्रीफल और मिठाई देकर कैदियों को किया गया रिहा

इस संबंध में रीवा केंद्रीय जेल अधीक्षक का कहना है कि, जिन 29 कैदियों को रिहा किया गया है, उनमें से 27 पुरुष और 2 महिला कैदी हैं। ये सभी कैदी आजीवन कारावास की सजा पड़ने के बाद से बीते कई वर्षों से जेल में सजा काट रहे थे। जेल से छूटने के बाद कैदियों के चेहरे पर खुशी नजर आई। उनको श्रीफल और मिठाई देकर आगे के जीवन में अच्छे कार्य करने की सीख देते हुए सभ्य जीवन गुजारने की शुभकामनाएं दी गईं हैं।

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